शहडोल की भदवाही ग्राम पंचायत का गजब कारनामा : जल गंगा संवर्धन अभियान में ड्राईफ्रूट के नाम पर हुआ फर्जी बिलों का मीठा खेल!

स्पेशल रिपोर्ट / पंचायत इंडिया न्यूज़

शहडोल। सरकार ने पवित्र जल गंगा अभियान के लिए जहां खजाने को जल स्रोतों के संवर्धन पर लिए खोला है। वहीं अफसर उसका किस तरह इस्तेमाल कर रहे हैं, इसकी बानगी शहडोल के ड्राईफ्रूट घोटाला से सामने आया है। अफसर 14 किलो मेवा चट कर गए। खुलासा तब हुआ जब बिल सामने आया। मामला शहडोल के गोहपारू ब्लॉक की भदवाही ग्राम पंचायत का है, यहां जिला स्तरीय जल गंगा संवर्धन अभियान में कार्यक्रम आयोजित किया गया था। पेंट घोटाले की आंच अभी ठंडी भी नहीं पड़ी थी कि पंचायत का कारनामा सामने आ गया। हैरानी की बात तो ये है कि इस एक घंटे के कार्यक्रम में इन अफसरों ने कथित तौर पर 14 किलो ड्राईफ्रूट (5 किलो काजू, 6 किलो बादाम और 3 किलो किशमिश) हजम कर लिए! इतना ही नहीं, चाय के नाम पर 6 लीटर दूध में 5 किलो शक्कर मिलाकर पी गई. कार्यक्रम की मेजबानी कर रही ग्राम पंचायत भदवाही ने अफसरों के खाने-पीने के इस शौक का 19010 रुपए का बिल भुगतान भी करवा लिया।

सबसे बड़ा सवाल यह है कि जिस जल चौपाल में अधिकारी पहुंचे थे, वहां ग्रामीणों को खिचड़ा, पूड़ी और सब्जी परोसी गई थी, लेकिन काजू बादाम सहित अन्य महंगी सामग्री कहीं नजर नहीं आई। जनपद से जुड़े जानकारों की मानें तो यह खाद्य सामग्री अधिकारियों की गाडिय़ों में रखवा दी गई होगी।

फर्जी बिलों का मीठा खेल
इस मामले में फर्जीवाड़े की परतें और भी खुलती हैं। एक ही तारीख 25 मई 2025 को लगाए गए बिल में काजू के दाम में भारी गिरावट देखी गई। जहां गोविंद गुप्ता किराना स्टोर से 5 किलो काजू 1000 रुपए प्रति किलो के हिसाब से खरीदे गए, वहीं उसी दिन सुरेश तिवारी टी स्टॉल से एक किलो काजू मात्र 600 रुपए में खरीद लिया गया! यानी, एक ही दिन में 6 किलो काजू खाकर अफसरों ने एक नया रिकॉर्ड बना दिया। हद तो तब हो गई जब 10 रुपये वाले 50 रसगुल्ले का बिल 500 रुपए की जगह बढ़ाकर 1000 कर दिया गया।

सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा बिल
यह बिल सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहा है, जिससे जिला प्रशासन के आला अधिकारियों की भारी किरकिरी हो रही है। ग्रामीणों में गुस्सा है कि जल गंगा संवर्धन अभियान में जल संरचनाओं की सफाई हो न हो, पंचायत के खजाने की सफाई जमकर चल रही है। अब देखना यह है कि इस ड्राईफ्रूट घोटाले पर प्रशासन क्या कार्रवाई करता है।

कार्यक्रम में कलेक्टर डॉ केदार सिंह, जिपं सीईओ नरेन्द्र सिंह, जयसिंह नगर की एसडीएम प्रगति वर्मा और जनपद सीईओ समेत कई अधिकारी शामिल हुए थे। वहीं प्रभारी सीईओ एमपी सिंह ने कहा कि हम आयोजन में थे। बिलों की जांच करवाएंगे।

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